Fatty Liver Signs: आजकल लोगों की लाइफस्टाइल काफी बदल गई है। खाने-पीने से लेकर सोने तक का समय बदल गया है, ऐसे में शरीर पर बिगड़ती लाइफस्टाइल का बुरा प्रभाव पड़ना जाहिर है। इसके अलावा, आजकल लोग फास्ट-फूड खाने के शौकीन हो गए हैं। इस तरह का खाना सेहत के लिए बिल्कुल भी फायदेमंद नहीं होता है, बल्कि कई तरह की स्वास्थ्य समस्याएं को जन्म दे सकता है। इन्हीं समस्याओं में से एक है फैटी लिवर की समस्या।
फैटी लिवर क्या है?
फैटी लिवर की समस्या तब होती है जब आपके लिवर में बहुत ज़्यादा चर्बी जमा हो जाती है। जिन लोगों का वजन ज्यादा होता है या जिन्हें डायबिटीज की समस्या होती है, उन्हें इस बीमारी के होने का खतरा अधिक होता है। यह गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकता है। दरअसल, लिवर खाने को पचाने और अपशिष्ट पदार्थों को संसाधित करने के लिए शरीर का मुख्य अंग है। हेल्दी लिवर में बहुत कम या बिलकुल भी चर्बी नहीं होती है।
अगर आप बहुत ज़्यादा शराब पीते हैं या बहुत ज़्यादा खाना खाते हैं, तो आपका शरीर कुछ कैलोरी को चर्बी में बदलकर इस अतिरिक्त चर्बी से निपटता है। यह चर्बी फिर लिवर की कोशिकाओं में जमा हो जाती है। जब आपके लिवर के कुल वज़न में चर्बी 5% से 10% से ज़्यादा होती है, तो आपको फैटी लिवर होता है। फैटी लिवर की समस्या आम होती जा रही है, क्योंकि लोग ज़्यादा चीनी और चर्बी खाते हैं।

फैटी लिवर रोग के लक्षण क्या हैं?
वैसे तो फैटी लिवर के कोई लक्षण नहीं होते हैं, लेकिन जो आमतौर पर इसके संकेत माने जा सकते हैं, वह हैं-
थका हुआ या सामान्य रूप से अस्वस्थ महसूस करना
पेट के ऊपरी राइट साइड में दर्द होना
वजन कम होना
फैटी लिवर के गंभीर लक्षण
- पीली आंखें और त्वचा (पीलिया)
- डार्क येलो यूरिन
- पेट में सूजन
- खून की उल्टी
- काला मल
- त्वचा में खुजली

फैटी लिवर के कारण
फैटी लिवर आमतौर पर कई कारणों से हो सकता है, जिनमें से कुछ आम कारण निम्न प्रकार हैं-
- मोटापा या ज़्यादा वज़न होना, ख़ास तौर पर पेट के आस-पास
- टाइप 2 डायबिटीज़ मेलिटस या इंसुलिन प्रतिरोध होना
- हाई ब्लड कोलेस्ट्रॉल या हाई ट्राइग्लिसराइड्स होना
- बहुत ज़्यादा शराब पीना
- कुछ दवाओं का सेवन
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