लंबे समय तक काम करने से बढ़ता है समय से पहले मौत का जोखिम: Long Working Hours Impact Lifespan

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Long Working Hours Impact Lifespan: आज की तेज रफ्तार वाली जिंदगी में हर किसी में आगे निकलने की होड़ है। इस मटेरियलिस्टिक युग में हर किसी को बड़ी गाड़ी, बड़ा घर की लालसा रहती है, जिसके चलते लोग अपनी क्षमता से ज्यादा काम करने के लिए भी तैयार रहते हैं। हालांकि, लंबे समय तक इतना काम करने से आपकी जिंदगी कम हो सकती है। जी हां, काम का लंबा वक्त और जीवन प्रत्याशा का सीधा संबंध है, जो आज की दुनिया का बड़ा मुद्दा बन गया है। इससे हेल्थ और लंबी लाइफ को लेकर चिंता पैदा हो रही है।

विश्व स्वास्थ्य संगठन और अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन के लेटेस्ट आँकड़ों के अनुसार, 2016 में लंबे समय तक काम करने के घंटों के परिणामस्वरूप स्ट्रोक और इस्केमिक हृदय रोग से 7,45,000 लोगों की मृत्यु हुई, जो साल 2000 से 29% की वृद्धि है। इस दावे को और पुष्ट करते हुए नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ़ हेल्थ द्वारा किए गए एक अध्ययन से पता चला है कि लगातार लंबे समय तक काम करना, जिसे अक्सर प्रति सप्ताह 48 घंटे से अधिक के रूप में परिभाषित किया जाता है, कई तरह की स्वास्थ्य समस्याओं को जन्म दे सकता है। इन समस्याओं में हृदय संबंधी बीमारियों, स्ट्रोक और यहाँ तक कि कम उम्र में मृत्यु का जोखिम भी शामिल है।

लंबे समय तक काम करने से जुड़े स्वास्थ्य जोखिम

एक्सपर्ट्स के अनुसार, “अधिक काम करने से लगातार हाई स्ट्रेस के लेवल के संपर्क में रहने से कोर्टिसोल (तनाव हार्मोन) का लेवल बढ़ सकता है, जो समय के साथ हाई ब्लड प्रेशर, डायबिटीज और अन्य पुरानी बीमारियों को बढ़ावा दे सकता है।

विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा प्रकाशित आंकड़ों के अनुसार, 35-40 घंटे प्रति सप्ताह काम करने की तुलना में 55 घंटे या उससे अधिक काम करने से स्ट्रोक का अनुमानित जोखिम 35% से अधिक और इस्केमिक हृदय रोग से मरने का 17% अधिक जोखिम होता है। सिस्टमिक समीक्षा और मेटा-विश्लेषण से भी इसी तरह के निष्कर्ष सामने आए हैं। यह बढ़ा हुआ जोखिम लंबे समय तक तनाव, फिजिकली एक्टिव न रहना और नींद पूरी न हो पाने के कारण होता है। यह उन लोगों में आम हैं जो अत्यधिक लंबे समय तक काम करते हैं।”

लंबे समय तक काम करने के जोखिम में तनाव की भूमिका

फिजिकली एक्टिव न होने या एक्सरसाइज न करने से लंबे समय तक काम करने के जोखिम बढ़ सकते हैं। जबकि नियमित रूप से एक्सरसाइज करने से यह जोखिम कम हो सकता है।। इसके अलावा, यदि लाइफस्टाल में हेल्दी बदलाव किए जाए, तो भी आप इन जोखिमों से बचे रह सकते हैं। ऐसे में अगर आपको एक्स्ट्रा काम करना पड़ रहा है, तो सुनिश्चित करें कि आप पर्याप्त नींद लें और हेल्दी लाइफस्टाइल के साथ-साथ फिजिकली भी एक्टिव रहें।

काम और लाइफ में करें बैलेंस

अपने काम और जीवन में बैलेंस बनाए रखना बहुत जरूरी होता है, क्योंकि इस संतुलन की कमी मानसिक स्वास्थ्य को भी प्रभावित कर सकती है, जिससे चिंता और डिप्रेशन बढ़ सकता है। यह स्थिति ओवरऑल हेल्थ को खराब कर सकती है। इससे जीवन प्रत्याशा पर भी बुरा असर पड़ता है। हैं, जिससे अपरिपक्व मौतें होती हैं। इसलिए कर्मचारियों और सेलेक्टर्स को काम और लाइफ में बैलेंज की अहमियत को पहचानने की जरूरत है।

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